
डोकलाम मामले में भारत को बड़ी जीत हासिल हुई है. भारत और चीन दोनों देश डोकलाम से अपनी सेना हटाने को तैयार हो गए हैं. पिछले दो महीने से डोकलाम मुद्दे पर इन दोनों देशों में तनाव पूर्ण स्थिति थी. कूटनीतिक तौर पर इसे भारत की बड़ी जीत मानी जा रही है.
विदेश मंत्रालय ने इस विवाद पर क्या कहा है-
अपने बयान में विदेश मंत्रालय ने कहा है, ”हाल के हफ्तों में डोकलाम में हो रही घटनाओं को लेटर दोनों देशों के बीच बातचीत हो रही थी. बातचीत में हम लोगों ने चीन को लेकर अपनी चिंता बताई और भारत के हित की बात की. बातचीत के बाद इस बात पर सहमित बन गई है कि दोनों देश डोकलाम से अपनी सेना हटाएँगे. सेना हटाने की प्रकिया शुरू हो गई है.”
लगातार भारत को धमकियां देता रहा है चीन
बता दें कि चीन कई बार इस मामले पर भारत को धमकी भी दे चुका था. अब भारत ने चीन को अपनी सेना पीछे हटाने पर मजबूर कर दिया. इस विवाद में भारत को जापान और अमेरिका का साथ मिला था. जापान ने कहा था कि चीन इस मुद्दे पर ‘बिना सोचे-समझे’ बयानबाजी करने से बाज आए तो वहीं अमेरिका ने कहा था कि वह चाहता है कि डोकलाम में चल रहे गतिरोध पर भारत और चीन आपस में बातचीत करें.
क्या है पूरा विवाद
भूटान में 89 स्कावयर किलोमीटर का इलाका है डोकलाम. रणनीतिक तौर पर तीनों देशों के लिए ये काफी अहम है. चीन डोकलाम पर अपना दावा ठोंकता रहा है जबकि भूटान उसे अपना हिस्सा मानता है. मित्र देश होने के नाते भूटान की सुरक्षा के लिए भारतीय सेनाएं डोकलाम में मौजूद रहती हैं. चीन ने हाल ही में डोकलाम में सड़क बनानी शुरू की, भारतीय सेना ने इसका विरोध किया और इसके बाद विवाद शुरू हो गया. चीन को ये बर्दाश्त नहीं हो रहा कि जब विवाद चीन और भूटान के बीच है तो उसमें भारत सीधे तौर से दखलअंदाजी क्यों कर रहा है. 16 जून से भारत और चीन की सेना के बीच गतिरोध जारी था जो अब खत्म हो गया है.